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लोग मुझे अपने होंठों से लगाए हुए हैं,

  लोग मुझे अपने होंठों से लगाए हुए हैं , मेरी शोहरत किसी के            नाम की मोहताज नहीं Attitude Shayari, log mujhe apane honthon  se lagae hue hain,  meree shoharat kisee ke  naam kee mohataaj nahin

jab vichaar, praarthana aur , Good Morning

मिर्ज़ा ग़ालिब (Mirza Ghalib) भारतीय उर्दू शायर और कवि थे, जो 18वीं और 19वीं सदी के बीच जीते थे।
 वे उर्दू शायरी के महान कवि में से एक माने जाते हैं और उनकी कविताएँ आज भी उर्दू 
साहित्य के महत्वपूर्ण हिस्से के रूप में मान्य जाती हैं। मिर्ज़ा ग़ालिब का जीवन परिचय निम्नलिखित है:
जन्म: मिर्ज़ा ग़ालिब का जन्म 27 दिसंबर 1797 को मुग़ल साम्राज्य के दिल्ली में हुआ था।
व्यक्तिगत जीवन: ग़ालिब का व्यक्तिगत जीवन कई मुश्किलों से भरपूर रहा। उन्होंने कई बार आर्थिक संकटों का सामना किया और उनके जीवन में व्यक्तिगत दुखभरा महसूस किया गया।
कविता कार्य: मिर्ज़ा ग़ालिब ने उर्दू शायरी में अपनी अनोखी पहचान बनाई। उनकी कविताएँ विशेष रूप से ग़ज़लों और शेरों की रूप में प्रसिद्ध हैं। उन्होंने अपने काव्य में मोहब्बत, विरह, और मानवी जीवन के विभिन्न पहलुओं को अत्यधिक अद्वितीय तरीके से व्यक्त किया। शायरी की महत्वपूर्ण योगदान: मिर्ज़ा ग़ालिब को उर्दू शायरी के सितारों में महत्वपूर्ण स्थान प्राप्त है। उनके शेर और ग़ज़लें आज भी कविता प्रेमियों के बीच प्रसिद्ध हैं और उनका काव्य उर्दू साहित्य की महत्वपूर्ण धारा को प्रभावित किया। मौत: मिर्ज़ा ग़ालिब का निधन 15 फरवरी 1869 को हुआ था, लेकिन उनकी कविताएँ और काव्य काव्य की अमरता के साथ आज भी जीवित हैं और उनके शेर लोगों के दिलों में बसे हुए हैं। मिर्ज़ा ग़ालिब का काव्य उनकी दरबारी और सामाजिक जीवन की छवि को दर्शाता है और उनके कविताओं में गहरे भावनाओं और शायरी की खुदी की अलग पहचान है।


 जब विचार, प्रार्थना और

इरादा सब पॉजिटिव हो तो

जिंदगी अपने आप

पॉजिटिव हो जाती है।

    Good Morning


https://shayariek.blogspot.com/2021/07/jab-vichaar-praarthana-aur-good-morning.html
Good -  Morning


jab vichaar, praarthana aur

iraada sab pojitiv ho to

jindagee apane aap

pojitiv ho jaatee hai.

    good morning

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